Wed Nov 13 2024 12:00:31 GMT+0530 (India Standard Time)
This commit is contained in:
parent
fd4ba55c05
commit
aeee0b135b
|
@ -1,3 +1,2 @@
|
|||
\v 33 \v 34 33 अहा, परमेश्वर का धन और बुद्धि और ज्ञान क्या ही गम्भीर है! उसके विचार कैसे अथाह, और उसके मार्ग कैसे अगम हैं!
|
||||
\v 34 “प्रभु कि बुद्धि को किस ने जाना?
|
||||
\v 33 अहा, परमेश्वर का धन और बुद्धि और ज्ञान क्या ही गम्भीर है! उसके विचार कैसे अथाह, और उसके मार्ग कैसे अगम हैं! \v 34 “प्रभु कि बुद्धि को किस ने जाना?
|
||||
या कौन उनका सलाहकार बन गया है? (अय्यू. 15:8, यिर्म. 23:18)
|
|
@ -0,0 +1,2 @@
|
|||
\v 35 या किस ने पहले उसे कुछ दिया है
|
||||
जिसका बदला उसे दिया जाए?” (अय्यू. 41:11) \v 36 क्योंकि उसकी ओर से, और उसी के द्वारा, और उसी के लिये सब कुछ है: उसकी महिमा युगानुयुग होती रहे। आमीन।
|
|
@ -187,6 +187,8 @@
|
|||
"11-25",
|
||||
"11-26",
|
||||
"11-28",
|
||||
"11-30"
|
||||
"11-30",
|
||||
"11-33",
|
||||
"11-35"
|
||||
]
|
||||
}
|
Loading…
Reference in New Issue