From 0a9546e7b62c5de20763f07c01eae7799c1ff214 Mon Sep 17 00:00:00 2001 From: Vachaa Date: Tue, 12 Nov 2024 15:44:15 +0530 Subject: [PATCH] Tue Nov 12 2024 15:44:15 GMT+0530 (India Standard Time) --- 07/13.txt | 1 + 07/15.txt | 1 + manifest.json | 3 ++- 3 files changed, 4 insertions(+), 1 deletion(-) create mode 100644 07/13.txt create mode 100644 07/15.txt diff --git a/07/13.txt b/07/13.txt new file mode 100644 index 0000000..7afe1f4 --- /dev/null +++ b/07/13.txt @@ -0,0 +1 @@ +\v 13 तो क्या वह जो अच्छी थी, मेरे लिये मृत्यु ठहरी? कदापि नहीं! परन्तु पाप उस अच्छी वस्तु के द्वारा मेरे लिये मृत्यु का उत्‍पन्‍न करनेवाला हुआ कि उसका पाप होना प्रगट हो, और आज्ञा के द्वारा पाप बहुत ही पापमय ठहरे। \v 14 क्योंकि हम जानते हैं कि व्यवस्था तो आत्मिक है, परन्तु मैं शारीरिक हूँ और पाप के हाथ बिका हुआ हूँ। \ No newline at end of file diff --git a/07/15.txt b/07/15.txt new file mode 100644 index 0000000..323f749 --- /dev/null +++ b/07/15.txt @@ -0,0 +1 @@ +\v 15 \v 16 15 और जो मैं करता हूँ उसको नहीं जानता, क्योंकि जो मैं चाहता हूँ वह नहीं किया करता, परन्तु जिससे मुझे घृणा आती है, वही करता हूँ। 16 और यदि, जो मैं नहीं चाहता वही करता हूँ, तो मैं मान लेता हूँ कि व्यवस्था भली है। \ No newline at end of file diff --git a/manifest.json b/manifest.json index 45937d6..b6fe751 100644 --- a/manifest.json +++ b/manifest.json @@ -122,6 +122,7 @@ "07-06", "07-07", "07-09", - "07-11" + "07-11", + "07-13" ] } \ No newline at end of file