From 7a3cfb5a0d63171e2878618162d5d52c4a4fae1e Mon Sep 17 00:00:00 2001 From: Vachaa Date: Sun, 17 Nov 2024 22:49:12 +0530 Subject: [PATCH] Sun Nov 17 2024 22:49:12 GMT+0530 (India Standard Time) --- 02/07.txt | 2 +- 02/10.txt | 1 + manifest.json | 3 ++- 3 files changed, 4 insertions(+), 2 deletions(-) create mode 100644 02/10.txt diff --git a/02/07.txt b/02/07.txt index 35df834..b68ebb9 100644 --- a/02/07.txt +++ b/02/07.txt @@ -1 +1 @@ - और धर्मी लूत को, जो अधर्मियों के अशुद्ध चाल-चलन से बहुत दुःखी था, बचाया। (उत्प.19:12-13, 15) 8 (क्योंकि वह धर्मी उनके बीच में रहते हुए और उनके अधर्म के कामों को देख देखकर, और सुन सुनकर, हर दिन अपने सच्चे मन को पीड़ित करता था)। 9 तो प्रभु, धर्मियों को परीक्षा में से निकाल लेना और अधर्मियों को न्याय के दिन तक दण्ड की दशा में रखना जानता है। \ No newline at end of file +\v 7 और धर्मी लूत को, जो अधर्मियों के अशुद्ध चाल-चलन से बहुत दुःखी था, बचाया। (उत्प.19:12-13, 15) \v 8 (क्योंकि वह धर्मी उनके बीच में रहते हुए और उनके अधर्म के कामों को देख देखकर, और सुन सुनकर, हर दिन अपने सच्चे मन को पीड़ित करता था)। \v 9 तो प्रभु, धर्मियों को परीक्षा में से निकाल लेना और अधर्मियों को न्याय के दिन तक दण्ड की दशा में रखना जानता है। \ No newline at end of file diff --git a/02/10.txt b/02/10.txt new file mode 100644 index 0000000..0946b82 --- /dev/null +++ b/02/10.txt @@ -0,0 +1 @@ +\v 10 विशेष करके उन्हें जो अशुद्ध अभिलाषाओं के पीछे शरीर के अनुसार चलते और प्रभुता को तुच्छ जानते हैं। वे ढीठ और घमंडी हैं, और ऊँचे पदवालों का अपमान करने से भी नहीं डरते। \v 11 परन्तु स्वर्गदूत, जो शक्ति और सामर्थ्य में उनसे बड़े हैं, प्रभु के सामने उन्हें बुरा-भला कहकर दोष नहीं लगाते। \ No newline at end of file diff --git a/manifest.json b/manifest.json index c49e334..85867f6 100644 --- a/manifest.json +++ b/manifest.json @@ -48,6 +48,7 @@ "01-19", "02-title", "02-01", - "02-04" + "02-04", + "02-07" ] } \ No newline at end of file